दिल्ली हिंसा में उत्तराखंड के टिहरी जिले के चम्बा ब्लॉक के अंतर्गत ग्राम पंचायत जुग्गडगांव निवासी विनोद ममगईकी निर्मम हत्या के बाद जुगाड़ गांव में पसरा सन्नाटा ग्रामीणों ने की मुख्यमंत्री से दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की मांग दिल्ली हिंसा के दौरान दंगाइयों के द्वारा उत्तराखंड के टिहरी जिले के अंतर्गत जुग्गड गांवनिवासी विनोद मंगाई की निर्मम हत्या से सारे गांव में मातम पसरा हुआ है गांव के ग्रामीणों ने उत्तराखंड के मुख्यमंत्री से अपील की है कि वह दिल्ली सरकार से इस में गहनता से जांच करवाएं ताकि जिसने विनोद मंगाए की निर्मम हत्या की हो उसे कड़ी से कड़ी सजा दिलाई जाए विनोद ममगाईं की हत्या के बाद गांव का हर परिवार दुखी है जिस कारण गांव में मातम पसरा हुआ है हर किसी की जुबान पर विनोद के लिए दया और भाव के स्वर उठे हैं साथ ही ग्रामीणों ने बताया कि विनोद ममगई के पिता ने गांव में पत्थर तोड़कर मजदूरी करके इन बच्चों को बड़ी मेहनत से पढ़ाया और जब बुढ़ापे में बच्चों का सुख लेना था तो इनको बुढ़ापे में बेटे के जाने का गम मिल गया ।
दिल्ली दंगे में उत्तराखंड के निवासियों के लिए बहुत भारी पड़ी इस हिंसा के गढ़वाल के कई नागरिक शिकार हुए कुछ का तो घर जला तो कुछ की दुकान है तो कुछ का जान माल का नुकसान हुआ ऐसे ही टिहरी निवासी विनोद के साथ हुआ जब वहां ऑफिस से घर लौट रहा था घर लौटते समय उसकी हत्या हो गई गांव के पूर्व प्रधान हरकृष्ण सकलानी ने बताया कि हमारी जो बात विनोद के बड़े भाई से हुई उन्होंने बताया कि विनोद ने अंतिम समय में अपने भाई और पत्नी को भी कॉल करके बताया था कि मैं कुछ लोगों से घिरा हुआ हूं फोन कटने के तुरंत बाद ही इनका पता नहीं चल पाया उसके बाद अगले दिन मोती नगर पुलिस थाने ने इनका शव नाले से बरामद किया और जेब में पर्ची से ऑफिस का पता चल पाया उसके बाद पुलिस ने ऑफिस से संपर्क किया गया उसके बाद परिजनों को सूचित किया गया जैसे ही परिजनों को इसकी जानकारी मिली तो घर में मां पिता भाई पत्नी बेटे में कोहराम मच गया,